हजारीबाग में बीते मंगलवार रात को मंगला जुलूस पर हुए हमला को लेकर नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने बड़ा बयान दे दिया है. उन्होंने हेमंत सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि हेमंत सोरेन झारखंड को तालीबानी शासन स्थापित करना चाहती है.
“हमले की जिम्मेदार हेमंत सोरेन की है”
बाबूलाल मरांडी ने सोशल मीडिया एक्स पर पोस्ट कर लिखा कि हजारीबाग में मंगला जुलूस पर हमला घोर निंदनीय और अस्वीकार्य है. इस हमले की सीधी जिम्मेदारी मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की है.
“हेमंत सोरेन की मूक सहमति से हो रही घटनाएं”
आगे बाबूलाल मरांडी ने लिखा हेमंत सोरेन के पास खुद गृह विभाग का प्रभार है. या तो हेमंत सोरेन की मूक सहमति से ये घटनाएं हो रही हैं या फिर वे प्रदेश की कानून व्यवस्था संभालने में पूरी तरह अक्षम हो चुके हैं.
पुलिस-प्रशासन हिंदुओं को सुरक्षा देने में पूरी तरह नाकाम साबित हुआ है. त्योहारों के दौरान बढ़ती हिंसा भविष्य के लिए खतरनाक संकेत दे रही है. झारखंड में अब तालिबानी शासन स्थापित हो गया है. जल्द ही स्थिति नहीं बदली तो हिंदुओं का सड़कों पर निकलना भी मुश्किल हो जाएगा!
‘रामवनमी के मौके पर सरकार सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित करें’
रामनवमी के अवसर पर सरकार को सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए सीसीटीवी कैमरों और ड्रोन की सहायता से स्थिति पर कड़ी निगरानी रखनी चाहिए. साथ ही, धार्मिक जुलूस पर पथराव जैसी घटनाओं के लिए जो भी अधिकारी जिम्मेदार हों, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो और समाज में शांति एवं सौहार्द बना रहे.
कैसे घटी घटना?
रामवनमी से पहले हर मंगलवार को मंगला जुलूस निकाला जाता है. वहीं होली के बाद हजारीबाग में दूसरे मंगलवार को मंगला जुलूस निकाला गया था. विभिन्न आखाड़ा धारी अपने – अपने जुलूस के साथ विभिन्न चौक चौराहों से गुजर रहे थे.
इस दौरान जुलूस में शामिल लोगो लाठी से करतब दिखा रहे थे. उसी दौरान असामाजिक तत्वों के द्वारा जुलूस पर पत्थराव किया गया जिसके बाद स्थिति तनावपूर्ण हो गई. और दोनों ओर से पत्थरबाजी की गई. घटना के बारे बताया जाता है कि रात के करीब 10.45 मिनट पर यहां बवाल शुरू हुआ था.
पुलिस ने लाठीचार्ज के बाद की हवाई फायरिंग
पुलिस प्रशासन को जैसे ही पूरे घटना की जानकारी मिली, वैसे ही पुलिस पूरे बल के साथ घटनास्थल पर पहुंच कर स्थिति को नियंत्रण में करने की कोशिश करने लगी.
लेकिन तनाव बढ़ता देख पुलिस ने भीड़ पर लाठियां भांजी साथ ही हवाई फायरिंग भी की जिसके बाद भीड़ तीतर –बीतर हुआ. फिर पुलिस ने 11 बजे तक स्थिति को नियंत्रण में कर ली.
बता दें कि पुलिस प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों के द्वारा रात भर कैंप किया गया और दोनों पक्षों को समझाने बुझाने की कोशिश की गई.