एनटीपीसी कोल माइंस के डीजीएम कुमार गौरव की हत्या की जांच एसआईटी कर रही है. मर्डर के दिन से ही एसआईटी टीम राज्य के विभिन्न जगहों पर छापेमारी कर रही है. इसी क्रम में टीम बिहार और यूपी भी गई. हालांकि अब तक एसआईटी को क्या कुछ पता चला है यह साफ नहीं हो पाया है.
जेल में बंद गैंगस्टर और शूटरों से की गई पूछताछ
वहीं जांच के क्रम में एसआईटी टीम ने जेपी कारा हजारीबाग में बंद कई गैंगस्टर और शूटरों से पूछताछ की गई. पुलिस अब तक 11 लोगों को हिरासत में लेकर अलग-अलग जगहों पर पूछताछ कर रही है.
बता दें कि बोकारो जोन के आईजी एस माइकल राज इस केस पर खूद निगरानी रखे हुए हैं. उन्होंने एक सप्ताह के भीतर मामले का खुलासा करने को लेकर हजारीबाग डीआईजी संजीव कुमार और एसपी अरविंद कुमार सिंह को निर्देश दिया है. इसके लिए जांच की गति भी तेज करने को कहा है.
पुलिस अब तक किसी नतीजे पर नहीं पहुंच सकी
एनटीपीसी के डीजीपी कुमार गौरव की हत्या के दिन से लेकर आज तक पुलिस किसी भी ठोस नतीजे पर नहीं पहुंच पाई है. अब तक सिर्फ आंशकाओं के आधार पर ही जांच की जा रही है. अब तक की जांच में पुलिस इस बात को समझने की कोशिश कर रही है कि कहीं एनटीपीसी के अन्य कर्मी को कहीं से धमकी मिली हो या विवाद हो, जिसका खामियाजा गौरव को भुगतना पड़ा.
मामले की जांच के क्रम में हजारीबाग और अन्य इलाकों में छापेमारी चल रही है, इसके अलावे संदिग्धों से पूछताछ की जा रही है.
वहीं कुछ दिन पहले रांची में हुए कोयला कारोबारी विपिन मिश्रा पर फायरिंग की घटना को भी पुलिस एनटीपीसी डीजीएम हत्याकांड से जोड़ कर देख रही है.
पुलिस विपिन मिश्रा पर हुई गोलीबार के पैटर्न को मिलाकर देख रही है
गौरतलब है कि एनटीपीसी डीजीएम हत्याकांड के ठीक एक दिन पहले कोयला कारोबारी विपिन मिश्रा पर बाइक सवार अपराधियों ने बरियातू रोड में तब गोली मारी थी, जब वे अपनी कार से जा रहे थे, उनकी कार पर भी पीछे से आकर बाइक सवार अपराधियों ने अंधाधुंध फायरिंग की थी. और एनटीपीसी के डीजीएम पर हुई गोलीबारी का पैटर्न भी बिल्कुल मिलता –जुलता है.
विपिन पर हुई गोलीबारी की जिम्मेदार अमन साव गिरोह ने ली थी
हालांकि विपिन मिश्रा पर गोलीबारी की जिम्मेदारी अपराधी अमन साव गिरोह ने ली थी पर एनटीपीसी डीजीएम हत्याकांड को लेकर किसी गिरोह ने कुछ नहीं कहा है.