झामुमो के कई और बड़े नेता अभी कतार में है. बाबूलाल मरांडी ने यह बड़ा दावा किया है.
बाबूलाल मरांडी ने दावा किया है कि चंपाई सोरेन और लोबिन हेम्ब्रम हेमंत सोरेन से अपमानित और प्रताड़ित होकर बीजेपी में आ गये. और भी कई बड़े नेता कतार में हैं.
बाबूलाल मरांडी ने दावा किया कि स्टीफन मरांडी ने यह स्वीकार किया है कि वह अपमान का घूंट पीकर झारखंड मुक्ति मोर्चा में हैं.
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि चंपाई सोरेन, लोबिन हेम्ब्रम और सीता सोरेन जैसे नेता अयोग्य और एक्सीडेंटल राजकुमार हेमंत सोरेन से अपमानित औरर प्रताड़ित होकर झारखंड मुक्ति मोर्चा छोड़ चुके हैं.
उन्होंने दावा किया कि और भी कई नेता कतार में हैं.
झारखंड आंदोलन से जुड़े सीनियर @JmmJharkhand लीडर्स चंपई सोरेन जी, लोबिन हेम्ब्रम जी और सीता सोरेन जी जैसे लोग अयोग्य एवं एक्सीडेंटल राजकुमार हेमंत सोरेन से अपमानित एवं प्रताड़ित होकर तानाशाही के विरोध में जेएमएम छोड़ चुके हैं। स्टीफ़न मरांडी जी उस दल में अपमान सह कर रह रहे होने…
— Babulal Marandi (@yourBabulal) August 31, 2024
झामुमो के इस नेता को लेकर किया बड़ा दावा
प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष ने कहा कि चंपाई सोरेन, सीता सोरेन और लोबिन हेम्ब्रम जैसे नेताओं को यह समझ में आ गया था कि हेमंत राज में बांग्लादेशियों के हाथों आदिवासियों, खासतौर पर संतालों का अस्तित्व संकट में है.
उनकी पहचान खतरे में है. समय रहते नहीं संभले तो हेमंत सोरेन संताल परगना का नामो-निशान मिटा देंगे.
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि झामुमो प्राइवेट लिमिटेड कंपनी पति-पत्नी और वो की पार्टी बनकर रह गई है.
झामुमो छोड़कर आये चंपाई सोरेन और लोबिन हेम्ब्रम
गौरतलब है कि 30 अगस्त को कोल्हान टाईगर के नाम से मशहूर पूर्व मुख्यमंत्री चंपाई सोरेन भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गये.
आज संताल परगना के दिग्गज झामुमो नेता लोबिन हेम्ब्रम भी भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गये. चंपाई सोरेन ने आरोप लगाया था कि उनको मुख्यमंत्री रहते अपमानित किया गया.
पार्टी फोरम में कोई ऐसा नहीं था जिससे अपने दिल की बात कहते.
वहीं, लोबिन हेम्ब्रम पिछले 4 साल से हेमंत सोरेन सरकार पर नीतिगत मसलों को लेकर हमलावर थे. पेसा कानून, सीएनटी-एसपीटी एक्ट और स्थानीय नीति को लेकर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को आड़े हाथों ले रहे थे.
अब दोनों बीजेपी का हिस्सा हैं. क्या और भी नेता कतार में हैं?